• होम पेज
  • टीम अफ़लातून
No Result
View All Result
डोनेट
ओए अफ़लातून
  • सुर्ख़ियों में
    • ख़बरें
    • चेहरे
    • नज़रिया
  • हेल्थ
    • डायट
    • फ़िटनेस
    • मेंटल हेल्थ
  • रिलेशनशिप
    • पैरेंटिंग
    • प्यार-परिवार
    • एक्सपर्ट सलाह
  • बुक क्लब
    • क्लासिक कहानियां
    • नई कहानियां
    • कविताएं
    • समीक्षा
  • लाइफ़स्टाइल
    • करियर-मनी
    • ट्रैवल
    • होम डेकोर-अप्लाएंसेस
    • धर्म
  • ज़ायका
    • रेसिपी
    • फ़ूड प्लस
    • न्यूज़-रिव्यूज़
  • ओए हीरो
    • मुलाक़ात
    • शख़्सियत
    • मेरी डायरी
  • ब्यूटी
    • हेयर-स्किन
    • मेकअप मंत्र
    • ब्यूटी न्यूज़
  • फ़ैशन
    • न्यू ट्रेंड्स
    • स्टाइल टिप्स
    • फ़ैशन न्यूज़
  • ओए एंटरटेन्मेंट
    • न्यूज़
    • रिव्यूज़
    • इंटरव्यूज़
    • फ़ीचर
  • वीडियो-पॉडकास्ट
  • लेखक
ओए अफ़लातून
Home बुक क्लब कविताएं

औरतें: रमाशंकर यादव ‘विद्रोही’ की कविता

टीम अफ़लातून by टीम अफ़लातून
April 2, 2021
in कविताएं, बुक क्लब
A A
औरतें: रमाशंकर यादव ‘विद्रोही’ की कविता
Share on FacebookShare on Twitter

जेएनयू कैम्पस के अपने कवि रमाशंकर यादव ‘विद्रोही’ अपनी कविताओं से समाज के दोहरे चेहरे को उघाड़ने में ज़रा भी रहम नहीं करते थे. ताउम्र समाज के दोगलेपन पर बोलते, लिखते रहे विद्रोही की यह कविता उन औरतों को समर्पित है, जिनके बारे में कहा जाता है कि उन्होंने अपनी इच्छा से जान दे दी थी. घरेलू हिंसा के तमाम पहलुओं को समेटती अंदर तक झकझोर देनेवाली कविता है.

कुछ औरतों ने अपनी इच्छा से कूदकर जान दी थी
ऐसा पुलिस के रिकॉर्ड में दर्ज है
और कुछ औरतें अपनी इच्छा से चिता में जलकर मरी थीं
ऐसा धर्म की किताबों में लिखा हुआ है

मैं कवि हूं, कर्त्ता हूं
क्या जल्दी है

इन्हें भीपढ़ें

friendship

ज़िंदगी का सरमाया: शकील अहमद की ग़ज़ल

April 22, 2025
kid-reading-news-paper

ख़ज़ाना कौन सा उस पार होगा: राजेश रेड्डी की ग़ज़ल

April 21, 2025
इस दर्दनाक दौर की तुमको ख़बर नहीं है: शकील अहमद की ग़ज़ल

इस दर्दनाक दौर की तुमको ख़बर नहीं है: शकील अहमद की ग़ज़ल

February 27, 2025
फटी एड़ियों वाली स्त्री का सौंदर्य: अरुण चन्द्र रॉय की कविता

फटी एड़ियों वाली स्त्री का सौंदर्य: अरुण चन्द्र रॉय की कविता

January 1, 2025

मैं एक दिन पुलिस और पुरोहित दोनों को एक साथ
औरतों की अदालत में तलब करूंगा
और बीच की सारी अदालतों को मंसूख कर दूंगा

मैं उन दावों को भी मंसूख कर दूंगा
जो श्रीमानों ने औरतों और बच्चों के ख़िलाफ़ पेश किए हैं
मैं उन डिक्रियों को भी निरस्त कर दूंगा
जिन्हें लेकर फ़ौजें और तुलबा चलते हैं
मैं उन वसीयतों को खारिज कर दूंगा
जो दुर्बलों ने भुजबलों के नाम की होंगी

मैं उन औरतों को
जो अपनी इच्छा से कुएं में कूदकर और चिता में जलकर मरी हैं
फिर से ज़िंदा करूंगा और उनके बयानात
दोबारा कलमबंद करूंगा
कि कहीं कुछ छूट तो नहीं गया?
कहीं कुछ बाक़ी तो नहीं रह गया?
कि कहीं कोई भूल तो नहीं हुई?

क्योंकि मैं उस औरत के बारे में जानता हूं
जो अपने सात बित्ते की देह को एक बित्ते के आंगन में
ता-ज़िंदगी समोए रही और कभी बाहर झांका तक नहीं
और जब बाहर निकली तो वह कहीं उसकी लाश निकली
जो खुले में पसर गई है मां मेदिनी की तरह

औरत की लाश धरती माता की तरह होती है
जो खुले में फैल जाती है थानों से लेकर अदालतों तक

मैं देख रहा हूं कि जुल्म के सारे सबूतों को मिटाया जा रहा है
चंदन चर्चित मस्तक को उठाए हुए पुरोहित और तमगों से लैस
सीना फुलाए हुए सिपाही महाराज की जय बोल रहे हैं.

वे महाराज जो मर चुके हैं
महारानियां जो अपने सती होने का इंतज़ाम कर रही हैं
और जब महारानियां नहीं रहेंगी तो नौकरानियां क्या करेंगी?
इसलिए वे भी तैयारियां कर रही हैं

मुझे महारानियों से ज़्यादा चिंता नौकरानियों की होती है
जिनके पति ज़िंदा हैं और रो रहे हैं

कितना ख़राब लगता है एक औरत को अपने रोते हुए पति को छोड़कर मरना
जबकि मर्दों को रोती हुई स्त्री को मारना भी बुरा नहीं लगता

औरतें रोती जाती हैं, मरद मारते जाते हैं
औरतें रोती हैं, मरद और मारते हैं
औरतें ख़ूब ज़ोर से रोती हैं
मरद इतनी ज़ोर से मारते हैं कि वे मर जाती हैं

इतिहास में वह पहली औरत कौन थी जिसे सबसे पहले जलाया गया?
मैं नहीं जानता
लेकिन जो भी रही हो मेरी मां रही होगी,
मेरी चिंता यह है कि भविष्य में वह आख़िरी स्त्री कौन होगी
जिसे सबसे अंत में जलाया जाएगा?
मैं नहीं जानता
लेकिन जो भी होगी मेरी बेटी होगी
और यह मैं नहीं होने दूंगा

Illustration: Pinterest

Tags: Aaj ki KavitaHindi KavitaHindi PoemKavitaRamashankar Yadav ‘Vidrohi’Ramashankar Yadav ‘Vidrohi’ Poem CollectionRamashankar Yadav ‘Vidrohi’ Poetryआज की कविताऔरतेंकवितारमाशंकर यादव ‘विद्रोही’हिंदी कविताहिंदी के कविहोली कविता
टीम अफ़लातून

टीम अफ़लातून

हिंदी में स्तरीय और सामयिक आलेखों को हम आपके लिए संजो रहे हैं, ताकि आप अपनी भाषा में लाइफ़स्टाइल से जुड़ी नई बातों को नए नज़रिए से जान और समझ सकें. इस काम में हमें सहयोग करने के लिए डोनेट करें.

Related Posts

democratic-king
ज़रूर पढ़ें

कहावत में छुपी आज के लोकतंत्र की कहानी

October 14, 2024
त्रास: दुर्घटना के बाद का त्रास (लेखक: भीष्म साहनी)
क्लासिक कहानियां

त्रास: दुर्घटना के बाद का त्रास (लेखक: भीष्म साहनी)

October 2, 2024
पढ़ना-लिखना सीखो ओ मेहनत करने वालों: सफ़दर हाशमी की कविता
कविताएं

पढ़ना-लिखना सीखो ओ मेहनत करने वालों: सफ़दर हाशमी की कविता

September 24, 2024
Facebook Twitter Instagram Youtube
Oye Aflatoon Logo

हर वह शख़्स फिर चाहे वह महिला हो या पुरुष ‘अफ़लातून’ ही है, जो जीवन को अपने शर्तों पर जीने का ख़्वाब देखता है, उसे पूरा करने का जज़्बा रखता है और इसके लिए प्रयास करता है. जीवन की शर्तें आपकी और उन शर्तों पर चलने का हुनर सिखाने वालों की कहानियां ओए अफ़लातून की. जीवन के अलग-अलग पहलुओं पर, लाइफ़स्टाइल पर हमारी स्टोरीज़ आपको नया नज़रिया और उम्मीद तब तक देती रहेंगी, जब तक कि आप अपने जीवन के ‘अफ़लातून’ न बन जाएं.

संपर्क

ईमेल: [email protected]
फ़ोन: +91 9967974469
+91 9967638520
  • About
  • Privacy Policy
  • Terms

© 2022 Oyeaflatoon - Managed & Powered by Zwantum.

Welcome Back!

Login to your account below

Forgotten Password?

Retrieve your password

Please enter your username or email address to reset your password.

Log In

Add New Playlist

No Result
View All Result
  • सुर्ख़ियों में
    • ख़बरें
    • चेहरे
    • नज़रिया
  • हेल्थ
    • डायट
    • फ़िटनेस
    • मेंटल हेल्थ
  • रिलेशनशिप
    • पैरेंटिंग
    • प्यार-परिवार
    • एक्सपर्ट सलाह
  • बुक क्लब
    • क्लासिक कहानियां
    • नई कहानियां
    • कविताएं
    • समीक्षा
  • लाइफ़स्टाइल
    • करियर-मनी
    • ट्रैवल
    • होम डेकोर-अप्लाएंसेस
    • धर्म
  • ज़ायका
    • रेसिपी
    • फ़ूड प्लस
    • न्यूज़-रिव्यूज़
  • ओए हीरो
    • मुलाक़ात
    • शख़्सियत
    • मेरी डायरी
  • ब्यूटी
    • हेयर-स्किन
    • मेकअप मंत्र
    • ब्यूटी न्यूज़
  • फ़ैशन
    • न्यू ट्रेंड्स
    • स्टाइल टिप्स
    • फ़ैशन न्यूज़
  • ओए एंटरटेन्मेंट
    • न्यूज़
    • रिव्यूज़
    • इंटरव्यूज़
    • फ़ीचर
  • वीडियो-पॉडकास्ट
  • लेखक

© 2022 Oyeaflatoon - Managed & Powered by Zwantum.